संदेशखाली में कांग्रेस कार्यकर्ताओं और पुलिस में झड़प, अधीर रंजन धरने पर बैठे; भाजपा बोली- पश्चिम बंगाल में गुंडा राज

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kolkata : पश्चिम बंगाल में नॉर्थ 24 परगना जिला स्थित संदेशखाली यौन उत्पीड़न मामले को लेकर बवाल जारी है। शुक्रवार (16 फरवरी) को भाजपा डेलिगेशन ने संदेशखाली जाने की कोशिश की, लेकिन पुलिस ने उन्हें रोक दिया। उनके वापस लौटने के बाद कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी वहां पहुंचे।

हालांकि, पुलिस ने उन्हें भी संदेशखाली ​​​जाने से रोका। इस पर कांग्रेस कार्यकर्ताओं और पुलिस के बीच झड़प हुई। इसके बाद अधीर रंजन रामपुर में धरने पर बैठ गए। उन्होंने कहा- हम जानना चाहते हैं कि संदेशखाली की असली घटना क्या है? वास्तव में वहां क्या हुआ कि लोगों को वहां जाने से रोका जा रहा है?

कांग्रेस सांसद ने कहा- संदेशखाली मामले को हिंदू-मुस्लिम सांप्रदायिक घटना के रूप में दिखाने की कोशिश हो रही है। ममता बहुत चतुराई से इसे बढ़ावा देने की कोशिश कर रही हैं। विधानसभा में कल उनके भाषण में ये स्पष्ट है। ममता बनर्जी को जवाब देना होगा। शाहजहां और उनके समर्थक सभी TMC के प्रोडक्ट हैं।

अधीर से पहले भाजपा की 6 सदस्यीय टीम को भी आज सुबह संदेशखाली जाने से रोका गया। टीम ​​​​​​की संयोजक और केंद्रीय मंत्री ​अन्नपूर्णा देवी ने कहा- हम पीड़ित बहनों को न्याय दिलाना चाहते हैं। जितनी मुस्तैदी से हमें रोका गया, अगर उसी मुस्तैदी से आरोपियों को पकड़ा जाता तो ये दिन नहीं देखना पड़ता। शेख के गुंडे महिलाओं को प्रताड़ित कर रहे थे। वे न्याय की गुहार लगा रही थीं।

भाजपा सांसद सुनीता दुग्गल ने कहा कि बंगाल में गुंडा राज की सरकार है। हमने संदेशखाली की पीड़ित महिलाओं से वीडियो कॉल पर बात की। जो महिलाएं हमसे बात कर रही थीं, उन पर पुलिस ने लाठीचार्ज किया है। हम बंगाल के गवर्नर से मिलेंगे और उन्हें पूरी जानकारी देंगे।

जेपी नड्डा ने गुरुवार (15 फरवरी) को दो केंद्रीय मंत्री और 4 सांसदों की कमेटी का गठन किया था। केंद्रीय मंत्री अन्नपूर्णा देवी कमेटी की संयोजक हैं। केंद्रीय मंत्री प्रतिमा भौमिक और 4 भाजपा सांसद- सुनीता दुग्गल, कविता पाटीदार, संगीता यादव और बृजलाल सदस्य हैं। कमेटी अब नड्डा को संदेशखाली मामले में रिपोर्ट सौंपेगी।