जयपुर 18 फरवरी — राजस्थान की राजधानी जयपुर में पीड़ितों ने अनुकंपा बिल्डर के खिलाफ धोखाधड़ी करने एवं समय पर फ्लैट नहीं देने का आरोप लगाया है और इस मामले में आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार करने की मांग की है।
इस मामले से पीड़ित एडवोकेट ललित शर्मा एवं अन्य ने आज यहां मीडिया को बताया कि इस मामले में न्याय दिलाने के लिए महेश नगर थाने के साथ पुलिस महानिदेशक को एफ़आइआर दर्ज करने के लिए परिवाद भेजा गया है।
श्री शर्मा ने बताया कि उन्होंने वर्ष 2017 में अनुकंपा स्काईलाउंज मुहाना मंडी रोड पर फ्लैट बुक कराया और दो साल में वर्ष 2019 में रहने के लिए यह फ्लैट देना था लेकिन 39 लाख रुपए देने के बाद भी इस फ्लैट का कब्जा नहीं देकर धोखाधड़ी की गई हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि प्रोजेक्ट के तहत फायर फाइटिंग सिस्टम नहीं लगाया गया है, ड्रेनेज सिस्टम् नहीं है एवं स्वीमिंग पूल नहीं बना, जो वादे किए गए वे पूरे नहीं किए गए और पूरा पैसे लेने के बावजूद काम पूरा नहीं किया गया।
उन्होंने बताया कि वर्ष 2017 में सैंकड़ों ग्राहकों ने फ्लैट्स की बुकिंग कराई लेकिन झूठे वादे कर संबंधित बिल्डर ने ग्राहकों से करोड़ों रुपये वसूल लिए और पीड़ित को फ्लैट नहीं दिया जा रहा है। उन्होंने बताया कि अधिकांश ग्राहकों को सब्ज़बाग़ दिखाकर अग्रिम भुगतान ले लिया गया और अब फ्लैट का कब्जा के लिए कोई संतोषजनक जवाब नहीं दिया जा रहा है। पिछले पांच साल से प्रोजेक्ट अटका है जबकि ग्राहकों की लगातार बैंक किश्त जा रही है। अब प्रमोटर गोपाल गुप्ता एवं प्रशांत गुप्ता ग्राहकों के फोन नहीं उठा रहे हैं, ऐसे में अब पीड़ित लामबंद होने लगे है।
उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि इस मामले में उन्होंने महेश नगर थाने में मामला दर्ज कराने का प्रार्थना पत्र दिया लेकिन पीड़ितों की तरफ से इस मामले में एफआईआर भी नहीं दर्ज की जा रही है। इस बारे में उन्होंने न्याय दिलाने के लिए महेश नगर थाने के साथ पुलिस महानिदेशक को एफ़आइआर दर्ज करने के लिए परिवाद भेजा है।
श्री शर्मा ने मांग की कि इस मामले में धोखाधड़ी करने वाले बिल्डर के खिलाफ शीघ्र एफआईआर दर्ज कर आरोपी को गिरफ्तार किया जाना चाहिए और पीड़ितों को न्याया दिलाया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि इस मामले में बिल्डर उल्टा पीड़ितों को मानहानि का नोटिस देकर धमका रहा है।
उन्होंने कहा कि इतने वर्ष बाद भी उन्हें फ्लैट नहीं मिलने के कारण अब उनका फ्लैट लेने का मकसद समाप्त हो गया हैं, क्योंकि पैसे देने के बाद फ्लैट एवं अन्य सुविधाएं नहीं मिली। उन्होंने मांग की कि ऐसे में 20 लाख के नुकसान की भरपाई एवं उनकी जानमाल की सुरक्षा की जाये।