जयपुर : राजस्थान में विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस की अशोक गहलोत सरकार ने ‘गौसेवा’ पर ध्यान देते हुए राज्य में 1,500 ग्राम पंचायतों में गौशाला बनाने की घोषणा की है। इस पर सरकार 1377 करोड़ रुपए खर्च करने जा रही है। गहलोत के इस फैसले को ‘हिंदुत्व प्लान’ से जोड़कर भी देखा जा रहा है, जिसके तहत वह भाजपा के प्रचार को कुंद करने की कोशिश कर रहे हैं। भगवा दल उन्हें ‘हिंदू विरोधी’ बताने में जुटा है। गहलोत ने यह फैसला ऐसे समय पर लिया है जब पेपर लीक के आरोपी के खिलाफ बुलडोजर ऐक्शन को ‘योगी मॉडल’ की नकल बताया गया।
गौशाला निर्माण के लिए गहलोत ने 1377 करोड़ रुपए के बजट वाली योजना को मंजूरी दे दी है। अगले दो वित्त वर्ष में हर पंचायत को गौशाला निर्माण के लिए आर्थिक मदद दी जाएगी। एक आधिकारिक बयान में कहा गया, ‘योजना को दो हिस्सों में बांटा गया है। पहले चरण में 2022-23 में 200 ग्राम पंचायतों में गौशाला का निर्माण होगा। 1300 ग्राम पंचायतों में 2023-24 में इसका निर्मा होगा। राज्य सरकार 90 फीसदी लागत का वहन करेगी और 10 फीसदी खर्च कार्यपालक एजेंसी करेगी।’
योजना से संबंधित दस्तावेजों में कहा गया है कि इसका उद्देश्य आवारा पशुओं को सुरक्षित ठिकाना मुहैया कराना है। एक अधिकारीने कहा, ‘किसानों को भी इसका फायदा मिलेगा, क्योंकि आवारा पुश फसलों को नुकसान पहुंचाते हैं। जब गायें दूध देना बंद कर देती हैं तो लोग उन्हें बेसहारा छोड़ देते हैं। पशु फसलों को नुकसान पहुंचाते हैं और ट्रैफिक में बाधा बनते हैं। गौशाला निर्माण से ऐसा नहीं होगा।’ चुनाव से पहले राज्य में 200 गौशाला का निर्माण होगा। इसके लिए 183.6 करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे।