नई दिल्ली:-दिल्ली के उपराज्यपाल (LG) वीके सक्सेना ने रविवार को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का नाम लिए बिना कहा कि IIT की डिग्री लेकर भी कुछ लोग अशिक्षित रह जाते हैं। LG का बयान ऐसे समय में आया है जब केजरीवाल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की डिग्री पर लगातार सवाल उठा रहे हैं।
LG सक्सेना से सवाल किया गया कि आम आदमी पार्टी (AAP) प्रधानमंत्री की डिग्री पर लगातार सवाल उठा रही है। इस पर सक्सेना बोले- हां मैंने भी सुना है कि विधानसभा में कुछ बातें कही गई हैं, लेकिन अपनी डिग्री पर कभी किसी को गुमान नहीं करना चाहिए। डिग्रियां तो पढ़ाई के खर्च की रसीदें होती हैं। शिक्षा वही है, जो इंसान का ज्ञान दर्शाती है।
भाजपा ने बच्चों के फेल होने पर सवाल उठाया था
भाजपा ने एक दिन पहले ही दिल्ली के सरकारी स्कूल के बच्चों के फेल होने और कम नंबर आने का मामला उठाया था। इस पर केजरीवाल ने ट्वीट कर लिखा- अगर कुछ बच्चे पढ़ाई में कमजोर रह गए तो हम एक्स्ट्रा क्लास लगाकर उन्हें पढ़ाएंगे। इन्ही बच्चों में से कोई भविष्य में देश का PM बनेगा। हम नहीं चाहते कि भविष्य में कोई फर्जी डिग्री लेकर प्रधानमंत्री बने।
दिल्ली सरकार की मंत्री बोलीं- LG भी अपनी डिग्री दिखाएं
LG वीके सक्सेना के बयान पर दिल्ली सरकार में मंत्री आतिशी मार्लेना ने पलटवार किया। उन्होंने कहा कि जिन IIT के नाम पर भारतीय बच्चे दुनिया की बड़ी-बड़ी कंपनियों में CEO बने हुए हैं। जिनके ब्रांड ने देश का नाम रोशन किया है, उन IITs पर LG सवाल उठा रहे हैं। जिनके नेता के पास डिग्री नहीं, उनके पास और कोई चारा नहीं। LG भी अपनी डिग्री दिखाएं।
AAP का डिग्री दिखाओ कैंपेन शुरू
आतिशी ने कहा- आम आदमी पार्टी आज से डिग्री दिखाओ कैंपेन शुरू कर रही है, जिसमें हर रोज आप के नेता अपनी डिग्री देश के सामने रखेंगे। मेरे पास 3 डिग्री है। दिल्ली यूनिवर्सिटी से BA, ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी से MA, ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी से सेकेंड मास्टर्स।
उन्होंने कहा- दिल्ली यूनिवर्सिटी के स्टीफन कॉलेज को गर्व से बताना चाहिए कि आतिशी ने यहां से पढ़ाई की है। इलाहाबाद यूनिवर्सिटी से पूर्व PM चंद्रशेखर ने पढ़ाई की। गुजरात यूनिवर्सिटी को गर्व से यह बताना चाहिए कि पीएम मोदी ने वहां से पढ़ाई की है, लेकिन हैरानी है डिग्री दिखाने की जगह यूनिवर्सिटी कोर्ट चली गई।
PM की डिग्री को लेकर कोर्ट ने केजरीवाल पर लगाया था जुर्माना
केजरीवाल ने अप्रैल 2016 में केंद्रीय सूचना आयोग (CIC) को एक लेटर लिखकर पीएम मोदी की शैक्षिक योग्यता से जुड़ी जानकारी सार्वजनिक करने की मांग की थी। उन्होंने लेटर में लिखा कि इस मुद्दे पर किसी भी तरह के भ्रम को दूर करने के लिए डिग्री को सार्वजनिक किया जाना चाहिए।
इसके बाद CIC ने गुजरात यूनिवर्सिटी से PM मोदी की एमए डिग्री के बारे में केजरीवाल को जानकारी मुहैया कराने को कहा था। CIC के इस आदेश को यूनिवर्सिटी ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। इसके बाद गुजरात हाईकोर्ट के जज जस्टिस बीरेन वैष्णव ने चीफ इन्फॉर्मेशन कमिश्नर (CIC) के 2016 में दिए गए आदेश को रद्द कर दिया। कोर्ट ने इस मामले में केजरीवाल पर 25 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया था।