वर्ल्ड महिला बॉक्सिंग चैपिंयनशिप 2023 में नीतू घंघस के बाद स्वीटी बूरा ने भी गोल्ड मेडल जीत लिया है। स्वीटी ने 81 किग्रा वेट कैटेगरी के फाइनल में चीन की वॉन्ग ली को 4-3 से हराया। मैच खत्म होने के बाद रिव्यू का फैसला आने तक नतीजे के लिए इंतजार करना पड़ा। लेकिन स्वीटी अंत में विजेता रहीं और भारत को दूसरा गोल्ड मेडल दिलाया।
उनसे पहले हरियाणा की बॉक्सर नीतू ने 48 किलो वर्ग में गोल्ड मेडल अपने नाम किया। नीतू ने शनिवार को फाइनल में 2022 एशियाई चैंपियनशिप की कांस्य पदक विजेता मंगोलिया की लुत्सेखान अल्तांसेटसेग को हराया। नीतू ने लुत्से खान अल्तांसेटसेग को 5-0 से हराकर फाइनल एकतरफा अंदाज में ही जीत लिया।
निखत-लवलीना के मुकाबले रविवार को
50 किग्रा वेट कैटेगरी की डिफेंडिंग चैंपियन निखत जरीन और 75 किग्रा कैटेगरी में भारत की दावेदार लवलीना बोरगोहेन भी फाइनल में हैं। दोनों के मुकाबले रविवार को खेले जाएंगे।
नीतू विश्व चैंपियन बनने वाली छठी भारतीय
इस जीत के साथ हरियाणा की 22 साल की नीतू वर्ल्ड चैंपियन बनने वाली छठी भारतीय (महिला-पुरुष) मुक्केबाज बन गईं। इससे पहले छह बार की चैंपियन मैरी कॉम (2002, 2005, 2006, 2008, 2010 और 2018), सरिता देवी (2006), जेनी (2006), लेखा केसी (2006) और निखत जरीन (2022) ने यह कारनामा किया है। नीतू के मेडल के बाद वर्ल्ड महिला बॉक्सिंग चैपिंयनशिप में भारत के पास अब कुल 11 गोल्ड मेडल हैं, जिनमें सबसे ज्यादा एमसी मैरीकॉम के छह हैं।
देखें नीतू का सफर
इससे पहले नीतू ने सेमीफाइनल में मौजूदा एशियाई चैंपियन और पिछले साल की वर्ल्ड चैंपियनशिप की रजत पदक विजेता कजाकिस्तान की अलुआ बाल्किबेकोवा को 5-2 से मात दिया था। वहीं क्वार्टर फाइनल में आरएससी (रैफरी के द्वारा मुकाबला रोके जाना) के आधार पर जापान की माडोका वाडा को हराया था।