नई दिल्ली:-इस साल होने वाले एशियाई खेलों और अगले साल के लिए प्रस्तावित पेरिस ओलंपिक की तैयारियों को ध्यान में रखते हुए खेल मंत्रालय के लिए बुधवार को पेश केन्द्रीय बजट में 3,397.32 करोड़ रुपये का प्रावधान रखा गया है जो पिछले साल के मुकाबले 723.97 करोड़ रुपये अधिक है. यह राशि पिछले वित्तीय वर्ष (2022-23) के संशोधित बजट से अधिक है, जब मंत्रालय को 2,673.35 करोड़ रुपये मिले थे. पिछले साल हालांकि वास्तविक आवंटन 3,062.60 करोड़ रुपये था. साल 2022-23 के लिए संशोधित आवंटन में कटौती का एक मुख्य कारण चीन में प्रस्तावित एशियाई खेलों का स्थगन हो सकता है. इन खेलों का आयोजन इस साल होगा.
मंत्रालय का प्रमुख कार्यक्रम, खेलो इंडिया – खेल के विकास के लिए राष्ट्रीय कार्यक्रम’ सरकार की प्राथमिकता बनी हुई है, इसे पिछले वित्त वर्ष के दौरान 606 करोड़ रुपये के संशोधित आवंटन के मुकाबले 1,045 करोड़ रुपये आवंटित किए गये हैं. इसमें 439 करोड़ रुपये की वृद्धि कार्यक्रम के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है. इस आयोजन ने पिछले कुछ वर्षों में ओलंपिक, एशियाई खेलों और राष्ट्रमंडल खेलों जैसे प्रमुख वैश्विक आयोजनों के लिए एथलीट तैयार करने की क्षमता दिखाई है
खिलाड़ियों के लिए राष्ट्रीय शिविरों के आयोजन, शिविर का बुनियादी ढांचा और उपकरण प्रदान करने, प्रशिक्षकों की नियुक्ति और खेल के बुनियादी ढांचे को बनाए रखने के लिए जिम्मेदार भारतीय खेल प्राधिकरण (साइ) के लिए इस बजटीय आवंटन में 36.09 करोड़ रुपये की वृद्धि की गयी है. पिछले वर्ष के संशोधित व्यय 749.43 करोड़ रुपये के मुकाबले साल 2023-24 के लिए उनका आवंटन 785.52 करोड़ रुपये है. राष्ट्रीय खेल संघों (एनएसएफ) को पिछले वर्ष के संशोधित बजट 280 करोड़ रुपये से 45 करोड़ रुपये का बढ़ा हुआ आवंटन प्राप्त हुआ है और अब उन्हें 325 करोड़ रुपये मिलेंगे.
विश्व डोपिंग रोधी एजेंसी (वाडा) से संबद्ध राष्ट्रीय डोपिंग रोधी एजेंसी (नाडा) और राष्ट्रीय डोप परीक्षण प्रयोगशाला (एनडीएलटी) को पहले साइ के जरिए कोष मिलता था लेकिन अब ये संस्थाएं अपने रकम को सीधे प्राप्त करेगी.इस साल के बजट में नाडा को 21.73 करोड़ रुपये की धनराशि मुहैया कराने का प्रावधान है, जबकि डोप परीक्षण कराने वाले एनडीटीएल को 19.50 करोड़ रुपये मिलेंगे. दुनिया भर के देश खेल उत्कृष्टता के लिए प्रयास कर रहे हैं और खिलाड़ियों के खेल विज्ञान और वैज्ञानिक प्रशिक्षण पर अधिक ध्यान दे रहे हैं. ऐसे में इस साल के बजट में राष्ट्रीय खेल विज्ञान और अनुसंधान केंद्र के लिए भी 13 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है