जयपुर:-भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनियां ने प्रदेश की गहलोत सरकार पर जुबानी हमला बोला है। पूनियां ने अपने आवास पर मीडिया से बातचीत में कहा कि सर्वाधिक अपराध के लिए पहले बिहार की मिसाल दी जाती थी। मन में पीड़ा और आशंका थी कि राजस्थान में ऐसा नहीं हो। मगर अब राजस्थान अशांत प्रदेशों की श्रेणी में आ गया है। कानून व्यवस्था बिगड़ चुकी है। अपराधियों, हत्यारों और माफियाओं का राज है।उन्होंने कहा कि बढ़ते अपराध की वजह पुलिसिंग की कमजोर बड़ा कारण है। ऐसी स्थिति तब पनपती है, जब राज का इकबाल खत्म होता है। सीएम केवल प्रतिशत गिनाकर पल्ला झाड़ लेते हैं। इस राज में पुलिस को राजनीतिक हस्तक्षेप के जरिए प्रभावित करने की कोशिश की गई है। मनोबल गिराने की कोशिश हो रही है। उन्होंने कहा कि साढ़े चार साल में दो साल कोरोना में बीते। कोरोना ने कांग्रेस के लिए संजीवनी का काम किया। लोगों में गुस्सा सरकार की शुरुआत में ही था। थानागाजी की घटना के बाद कानून व्यस्था बिगड़ती गई। बहुत सारे मुद्दों पर लोगों मं आक्रोश था। पेपर लीक और बेरोजगारी दो प्रश्न सरकार के समक्ष खड़े थे। यदि सरकार नीयत ठक होती तो ऐसी 19 भर्तियों में 95 हजार का पदस्थान हो जाता। आज ये सभी सड़कों पर हैं।हम पर राजनीति का आरोप दुर्भाग्यपूर्णवीरांगनाओं के मामले में सीएम गहलोत ने भाजपा पर राजनीति करने और बरगलाने के आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि वीरांगनाओं को बरगलाने की अवश्यकता नहीं है। शहीद अंत्येष्टि के समय बड़ी-बड़ी बातें की जाती थी। फिर उन्हें पूरा नहीं किया जाता है तो यह स्थिति पनपती है। करगिल युद्ध के समय अटल बिहारी वाजपेयी ने पैकेज की शुरुआत की थी। कालांतर में राज्य सरकारों ने उसे अपनाया। अगर सरकार ने कमिटमेंट किया है तो पूरा करना चाहिए। सीएम का बयान दुर्भाग्यपूर्ण है।मर्यादा के बाहर बात करते हैं सीएमकेंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत पर सीएम के आरोपों को लेकर पूनियां ने कहा कि विपक्ष के नेताओं पर सार्वजनिक बयानबाजी अक्षम्य है। कुर्सी की असुरक्षा ने गहलोत को इतना विचलित कर दिा है कि वो आए दिन कुछ ना कुछ मर्यादा के बाहर बात करते हैं। उन्होंने शेखावत पर सीधे-सीधे ऐसे आरोप लगाए जैसे वे एसओजी के मुखिया हो।