भाजपा के वरिष्ठ नेता और संघ के प्रचारक संजय जोशी का नाम राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के संभावित उम्मीदवारों में शामिल हो रहा है। संघ से जुड़े जोशी की पार्टी में गहरी पैठ रही है और उन्होंने संगठनात्मक ढांचे को मजबूत करने में अहम भूमिका निभाई है। 1980 के दशक से संघ और भाजपा से जुड़े संजय जोशी को संगठनात्मक क्षमता और अनुशासन के लिए जाना जाता है।
संजय जोशी का राजनीतिक सफर विवादों से भी घिरा रहा है, विशेषकर 2005 में हुए फर्जी सीडी कांड के बाद। लेकिन संघ और नितिन गडकरी जैसे नेताओं के समर्थन से वह भाजपा में फिर से महत्वपूर्ण भूमिका में लौटे। उनके समर्थक मानते हैं कि उनकी संगठनात्मक कुशलता और संघ के साथ निकटता उन्हें राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए एक योग्य उम्मीदवार बनाती है।
अगर संजय जोशी को राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया जाता है, तो यह भाजपा के संगठनात्मक ढांचे को और मजबूत करने का प्रयास होगा। पार्टी में उनके नाम पर चर्चा ने एक बार फिर से संघ और भाजपा के बीच के समीकरणों को केंद्र में ला दिया है।