जयपुर:-मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पर विधायकों का अत्यधिक दबाव है कि चुनाव से पहले उनके चहेते तृतीय श्रेणी शिक्षकों को अपने क्षेत्र में लाने के लिए तबादला किया जाए। राजनीतिक स्थिति को अपने पक्ष में बनाए रखने के लिए अब सीएम गहलोत ने तबादले की बात को सैद्धांतिक रूप से मान लिया है। अब नई भर्ती के बाद तृतीय श्रेणी शिक्षकों के तबादले करने की कवायद करने के निर्देश शिक्षा मंत्री डॉ. बी डी कल्ला को दे दिए हैं । उसी आधार पर अब प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय द्वारा तृतीय श्रेणी शिक्षकों के तबादले करने का प्रस्ताव तैयार कर राज्य सरकार को भेजा है।
शिक्षा मंत्री डॉ. कल्ला के माध्यम से तृतीय श्रेणी शिक्षकों के तबादले करने का यह प्रस्ताव सीएम गहलोत को भेजे जाएंगे। यह भी माना जा रहा है कि सीएम गहलोत इन प्रस्तावों पर कैबिनेट की मुहर लगाकर तृतीय श्रेणी तबादले करने की नीति को हरी झंडी प्रदान कर सकते हैं। फिलहाल चर्चाएं जोरों पर है कि तबादला तृतीय श्रेणी का किया जा सकता है ! फिलहाल जून में जब तबादलों के लिए आवेदन मांगे जाएंगे उस समय पता चलेगा कि कितने लोग जिले को छोड़ कर आना चाहते हैं और नए शिक्षकों की संख्या कितनी है उसी आधार पर तबादला किया जा सकेगा। लेकिन यह बात स्पष्ट है कि विधायकों और मंत्रियों को संतुष्ट करने के लिए निश्चित तौर पर तबादले किया जाना संभव है!
प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय ने तृतीय श्रेणी अध्यापकों के तबादले जुलाई में करने की तैयारियां शुरू कर दी है। शिक्षा निदेशालय द्वारा 21 बिंदुओं के दिशानिर्देश तैयार कर सरकार को प्रस्ताव भेजा है। मंत्रियों और विधायकों की डिजायर के अलावा 21 बिंदुओं को पूरा करने वाले शिक्षकों को तबादलों में प्राथमिकता मिलेगी । तबादलों के लिए जून में आवेदन मांगे जाएंगे उसके बाद तबादला प्रक्रिया शुरू होगी।
प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय ने प्रस्ताव करते हुए सुझाव दिया है कि जिला तबादला करने के लिए वर्तमान जिले में 5 साल की नौकरी अनिवार्य होगी इसके अलावा 3 साल का रिजल्ट भी देखा जाएगा। कम परीक्षा परिणाम देने वाले शिक्षकों के तबादले का मौका नहीं मिलेगा।
प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय अपने गाइडलाइन के प्रस्ताव में कहा है कि लगातार पिछले 3 वर्ष तक जिन स्कूलों के द्वारा 5वीं और आठवीं के लिए 5 स्टार रेटिंग प्राप्त की गई है, इस पूर्ण अवधि में स्कूलों में लेवल-1 व 2 को उनके इच्छित स्थान में स्थानांतरित की प्राथमिकता दी जाएगी।
प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय ने तय किया है कि पूर्णत: दिव्यांग शिक्षक, गंभीर बीमार शिक्षक, गंभीर बीमार पति, पत्नी आश्रित बच्चे जिन्हें मेडिकल सहायता की विशेष आवश्यकता।
प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय अपने गाइडलाइन के प्रस्ताव में कहा है कि तृतीय श्रेणी शिक्षकों के पद विरुद्ध के विरुद्ध तबादले नहीं किए जाएंगे, तबादले समान पद और विषय के ही होंगे। जिन शिक्षकों की 6(3) की कार्रवाई हो चुकी है उनके अंतर जिला तबादले संबंधित डीईओ माध्यमिक करेंगे। पंचायत राज विभाग के अधीन शिक्षक जिन्हें 6 (3) के तहत शिक्षा विभाग में स्थानांतरित नहीं किया है इनका तबादला पंचायत राज विभाग के सक्षम अधिकारी करेंगे। परिवीक्षाकाल में स्थानांतरण नहीं होंगे।