कोटा : पूर्व सीएम वसुन्धरा राजे ने कहा है कि खराबा सिर्फ़ फसलों में ही नहीं है,कांग्रेस सरकार की नीयत में भी है।इस बेमौसम की बारिश से कई जिलों में ख़रीफ़ की फसल में तबाही हो गई,पर सरकार को फ़ुरसत ही नहीं है।इस अतिवृष्टि में हुए ख़राबे की 5 लाख से अधिक किसानों ने शिकायत दर्ज करवाई है,यह आँकड़ा तो मामूली है।इनके अलावा प्रदेश में लाखों किसान ऐसे है,जिनको शिकायत करने की प्रक्रिया ही मालूम नहीं है।राज्य सरकार बीमा प्रक्रिया सरल करे और शिकायत को 72 घंटे की सीमा से मुक्त करे।आँकलन करा किसानों को तत्काल मुआवज़ा दे।उनके साथ सांसद दुष्यन्त सिंह भी थे।
राजे ने कहा है कि किसानों को कोंग्रस सरकार ने गत वर्ष हुए ख़राबे का भी मुआवज़ा नहीं दिया।सोयाबीन का बीमा क्लेम अभी भी बाक़ी है।
पूर्व सीएम ने मंगलवार को झालावाड़,बारां,टोंक, बूंदी,भीलवाड़ा और कोटा ज़िले में हुए फ़सली नुक़सान का हवाई सर्वे कर कहा कि इस बारिश ने किसान को बड़ा नुक़सान दिया है।सोयाबीन,मूँग,उड़द,धान (चावल),मूँगफली,ज्वार,बाज़रा व मक्का में बड़ा नुक़सान है लेकिन इस सरकार के पास किसानों के आंसू पोंछने का भी वक्त नहीं है।पूर्व सीएम ने कहा कि हमारी सरकार के समय निश्चित समय सीमा में मुआवज़ा दिया जाता था।पहले 50 प्रतिशत या इससे अधिक ख़राबे पर ही किसानों को मुआवज़ा मिलता था, लेकिन हमारी सरकार के समय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से निवेदन कर इस नियम को 33 प्रतिशत पर करवाया